परिचय

  • प्रदेश में नकली, अधोमानक एवं मिथ्याछाप औषधियों के निर्माण एवं विक्रय तथा मिलावटी खाद्य पदार्थों की रोकथाम हेतु प्रभावी कार्यवाही किये जाने तथा इस सम्बन्ध में औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं तत्सम्बन्धी नियमावली, 1945, खाद्य अपमिश्रण से सम्बन्धित कार्य खाद्य अपमिश्रण निवारण अधिनियम, 1954 एवं तत्सम्बन्धी नियमावली, 1955 के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के नियंत्रणाधीन महानिदेशालय, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य से पृथक खाद्य एवं औषधि प्रशासन निदेशालय का गठन कार्यालय ज्ञाप दिनांक 25.09.2008 द्वारा किया गया। कार्यालय ज्ञाप दिनांक 30.07.2009 द्वारा चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग से पृथक खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग का गठन किया गया।
  • इस संगठन का कार्य मात्र नमूना संग्रह करना ही नहीं बल्कि संग्रहीत नमूनों का त्वरित विश्लेषण कर अपचारी के विरूध्द विधिक कार्यवाही करना भी है। उपरोक्त कार्य के त्वरित एवं समयबद्व निस्तारण हेतु खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग के अन्तर्गत लखनऊ में अत्याधुनिक उपकरणों से युक्त राजकीय जन विश्लेषक प्रयोगशाला की स्थापना की गयी है तथा क्षेत्रीय स्तर पर उपरोक्त कार्यो को त्वरित गति प्रदान करने हेतु प्रवर्तन शाखा को सक्रिय किया गया है।
  • खाद्य एवं औषधि प्रशासन के विभागाध्यक्ष प्रमुख सचिव/सचिव स्तर के भारतीय प्रशाासनिक सेवा के अधिकारी हैं, जो आयुक्त, खाद्य एवं औषधि प्रशासन के नाम से जाने जाते हैं।
  • खाद्य एवं औषधि प्रशासन के मुख्यालय के स्थापित संगठनात्मक ढांचे के अनुसार खाद्य एवं औषधि विभागाध्यक्ष के अधीन खाद्य एवं औषधि कार्यों पर प्रभावी नियंत्रण एवं तकनीकी कार्यकुशलता प्रदान करने के उद्देश्य से विभागीय संयुक्त आयुक्त, औषधि/खाद्य हैं। वर्तमान में प्रदेश के परिदृश्य में संदिग्ध व्यवसायियों के चिन्हिकरण एवं उनके विरूध्द कार्यवाही में पुलिस विभाग तथा स्थानीय अभिसूचना इकाई से सामंजस्य बनाते हुए सक्रीय सहयोग प्राप्त किया जा रहा है। इस उद्देश्य से खाद्य अपमिश्रण कार्यक्रम में डी.आई.जी. रैंक का एक अपर आयुक्त अभिसूचना/प्रवर्तन नियुक्त किये गये हैं, जो मण्डल एवं जनपद स्तर की सूचनाओं को एकत्र कर पुलिस सहयोग से छापे डलवाने का कार्य करते हैं। अपर आयुक्त, अभिसूचना/प्रवर्तन की सहायता हेतु एक पुलिस उपाधीक्षक तथा 04 पुलिस निरीक्षक नियुक्त हैं। कार्मिकों के सेवा सम्बन्धित प्रकरणों एवं मुख्यालय के समस्त प्रशासनिक कार्यों के सम्पादन हेतु एक वरिष्ठ पी0सी0एस0 अधिकारी, अपर आयुक्त (प्रशासन) के रूप में नियुक्त हैं, जिनके सहयोग हेतु एक कनिष्ठ पी0सी0एस0 अधिकारी उपायुक्त (प्रशासन) नियुक्त किये जाने का प्राविधान है। मुख्यालय के वित्तीय कार्यों के सम्पादन हेतु एक वित्त नियंत्रक तथा एक सहायक लेखा अधिकारी वित्त विभाग से नियुक्त किये जाने का प्राविधान है।
  • अधोमानक औषधियों/अपमिश्रित सामग्री पर प्रभावी नियंत्रण हेतु खाद्य एवं औषधि प्रशासन का मण्डलीय संगठन मण्डलायुक्त एवं जनपदीय संगठन जिलाधिकारी के अधीन है। इस प्रकार अपेक्षित पुलिस एवं प्रशासनिक सहयोग तो मिल ही रहा है, साथ ही सूचना एकत्रीकरण हेतु स्थानीय अभिसूचना इकाई के साथ-साथ अन्य विभागों का सहयोग भी मिल रहा है।
  • प्रदेश में लखनऊ में राज्य स्तरीय खाद्य एवं औषधि विश्लेषण प्रयोगशाला है, जहाँ औषधि के साथ-साथ खाद्य पदार्थों का भी विश्लेषण होता है तथा 05 क्षेत्रीय खाद्य एवं औषधि विश्लेषण प्रयोगशालायें, मेरठ, आगरा, झाँसी, वाराणसी तथा गोरखपुर में स्थापित हैं। उक्त प्रयोगशालाओं को सुदृढ़ करने की कार्यवाही की जा रही है। सुदृढ़ होने के पश्चात प्रतिवर्ष 12000 औषधि के नमूनें एवं 36000 खाद्य पदार्थों के नमूनें विश्लेषित हो सकेंगे।

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